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कांग्रेस के शहर अध्यक्ष के पत्र की शब्दावली पर उठ रहे सवाल

शहर की फिजा को बिगाड़ने वाले को कांग्रेस का सादर नोटिस!

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सागर। ईद-ए-मिलादुन्नबी के जुलूस में भड़काऊ नारेबाजी करने वाले कांग्रेस के पूर्व सदर ब्लॉक उपाध्यक्ष फिरदौस कुरैशी को शनिवार को शहर कांगे्रेस कमेटी के अध्यक्ष महेश जाटव ने अनुशासनहीनता का नोटिस दिया था। जो २४ घंटे के भीतर ही सोशल मीडिया प्लेटफार्म्स पर तेजी से वायरल हुआ है। इसकी वजह यह है कि अध्यक्ष जाटव ने अपने ही पूर्व पदाधिकारी कुरैशी के इस कृत्य पर आपत्ति तो ली है लेकिन जिस शब्दावली का उपयोग उन्होंने किया है। वह साधारणत: इस तरह के मामलों में उपयोग नहीं की जाती है। जैसे कि जाटव ने उन्हें सादर संबोधित करते हुए यह नोटिस दिया है। वहीं उन्होंने स्वयं के लिए भी औपचारिक रूप से भवदीय लिखा है। जबकि इस तरह के नोटिस में सादर, भवदीय जैसे शब्दों की कोई आवश्यकता नहीं रहती। हिंदी के जानकारों के अनुसार, आपत्ति लेने वाले पत्रों की भाषा प्राय: ऐसी रखी जाती है, जो संबंधित की नाराजगी जताने वाली हो। साथ ही इससे अन्य लोग भी सबक लें। लेकिन अध्यक्ष के इस पत्र में ऐसा कोई संदेश निर्मित नहीं हो रहा है।  

जेल पहुंच गया फिरदौस, अन्य दो की तलाश में छापेमारी

विवादित नारे लगाने के आरोप में फिरदौस को कोतवाली पुलिस ने शनिवार को ही गिरफ्तार कर लिया था। उसके खिलाफ आपत्तिजनक नारेबाजी करने समेत अन्य आरोपों में एफआईआर की गई थी। चूंकि उसके कृत्य से शहर में कानून और व्यवस्था के प्रति नकारात्मक माहौल बना था,इसलिए पुलिस ने उसके खिलाफ प्रतिबंधात्मक धारा 151 भी कायम की थी। जिसके बाद उसे देरशाम जेल भेज दिया गया था। इधर इस मामले के दो अन्य आरोपी पम्मा कसाई और उसका पुत्र शहबाज अब तक पुलिस के समक्ष पेश नहीं हुए हैं। कोतवाली टीआई मनीष सिंघल के अनुसार इन दोनों की सरगर्मी से तलाश की जा रही है। टीआई सिंघल का कहना है कि चूंकि मामला सांप्रादायिक तनाव बढ़ाने का है इसलिए इस प्रकरण में किसी तरह की ढील नहीं बरती जाएगी। मुखबिर तंत्र को सक्रिय किया गया है। जल्द से जल्द पम्मा कसाई उसके बेटे व अन्य लोगों की पहचान कर पूछतांछ की जाएगी। यहां बता दें कि गुरुवार को वर्ग विशेष द्वारा एक बाइक रैली निकाली गई थी। जिसमें शामिल कुछ लोगों ने शहर के हृदय स्थल तीन बत्ती पर सर तन से जुदा सरीखा एक नारा बार-बार लगाया था। शुक्रवार को जैसे ही इस घटनाक्रम का वीडियो वायरल हुआ तो हिंदुवादी नेता व संगठनों नाराजगी जताते हुए पुलिस से शिकायत की थी। जिसके बाद संबंधितों पर आपराधिक केस दर्ज किया गया था।

07/09/2025

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