सिटीलिंक को चमकाने की तैयारी और मकरोनिया चौराहा- पैराडाइज रोड तक नक्शे के विरुद्ध निर्माण!
उपनगर मकरोनिया में लगातार चल रहे नक्शा-नॉर्म्स के विरुद्ध व्यवसायिक निर्माण, नगर पालिका की भूमिका नक्शा पास करने तक, निर्माण का कोई सुपरविजन नहीं

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सागर। सिविल लाइंस चौराहा-मकरोनिया चौराहा तक सिटी लिंक रोड को व्हाइट टॉपिंग के जरिए चमकाने की तैयारी है। जबकि इस रूट से कहीं ज्यादा खस्ताहाल, बेतरतीब निर्माण की भरमार वाले मकरोनिया चौराहा- बहेरिया तिराहे वाले रूट पर न तो स्थानीय नगर पालिका प्रशासन और न ही स्थानीय जनप्रतिनिधि ध्यान दे रहे हैं।
क्षेत्र की आबादी और ट्रेफिक के लोड को देखते हुए इस मार्ग के चौड़ीकरण और अवैध निर्माणों पर कार्रवाई, सिटी लिंक रोड के निर्माण से कहीं अधिक आवश्यक है। स्थिति ये है कि मास्टर प्लान 2031 और 2035 में मकरोनिया-बहेरिया सड़क की चौड़ाई 36 मीटर तय होने के बावजूद यह सड़क सिकुड़कर 25-27 मीटर चौड़ी रह गई है। यह स्थिति यहां बेतरतीब और नक्शों के खिलाफ निर्माण किए जाने के कारण बनी।
साफ है कि नगर पालिका की भवन निर्माण एवं नक्शा शाखा ने केवल कागजी प्लान पर भरोसा किया। जबकि उनके सब-इंजीनियर्स को मौके पर जाकर बन रहे भवनों की माप-जोख भी देखना थी।
जहां सबसे ज्यादा भीड़-भाड़, वहीं पर सड़क संकरी हो गई
मकरोनिया चौराहा से करीब 200 मीटर बंडा रोड की तरफ सबसे ज्याद कॉमर्सियल स्टोर्स हैं। ग्रॉसरी, गारमेंट्स, ज्वेलरी आदि के शो-रूम होने के कारण यहां सबसे ज्यादा भीड़ होती है। लेकिन इन्हीं स्टोर्स के भूमि-स्वामियों द्वारा नियम विरुद्ध निर्माण किए जाने के कारण सड़क की चौड़ाई घटकर 26 मीटर तक रह गई है। उदाहरण के लिए विशाल मेगा मार्ट के सामने एसएएफ बटालियन के गेट तक सड़क की चौड़ाई करीब 29 मीटर ही रह गई है।
इसी तरह पेन्टालून के शो-रूम के सामने सड़क करीब 25 मीटर चौड़ी है। यहां फिर बता दें कि टीएनसीपी के प्लान में यह पूरी 1700मीटर लंबी सड़क 36 मीटर चौड़ी दर्शाई गई है।
नरसिंहपुर रोड पर सड़क पर ही ट्रांफार्मर गाड़ दिया
मकरोनिया चौराहा पर लगातार खुल रहे शॉपिंग स्टोर्स के भूमिस्वामियों द्वारा नियमों को कैसे ताक पर रखा जा रहा है। इसका एक बड़ा उदाहरण नरसिंहपुर रोड पर स्थित होम एप्लाइंसेज आइटम्स का आउटलेट क्रोमा है। जिसकी बिजली सप्लाई के लिए सड़क पर ही ट्रांसफार्मर गाड़ दिया गया। जबकि यह ट्रांसफार्मर सड़क से हटकर लगाया जाना चाहिए था। कुछ इसी तरह की गड़बड़ी एनपी शर्मा के नर्सिंग होम्स से पहले एक व्यवसायिक भवन के निर्माण में भी की जा रही है। यह भवन बगैर पार्किंग बनाया जा रहा है।
बेसमेंट की डिजाइन पर सवाल, रेस्टोरेंट के रूप में हो रहा उपयोग
चौराहा पर स्थित विशाल मेगा मार्ट के नीचे पार्किंग के लिए स्थान रिक्त छोड़ा गया था। लेकिन यहां इंडियन कॉफी हाउस का संचालन किया जा रहा है। इधर एक नई जानकारी ये मिली है कि बेसमेंट में पार्किंग बनाने के लिए पूरा एरिया ओपन रखा जाना चाहिए। मतलब जो भी कॉमर्सियल निर्माण किया जा रहा है। वह पिलर्स पर तैयार होगा। भू-तल पर स्थित पार्किंग को हर तरफ से ओपन रखा जाएगा। लेकिन मकरोनिया समेत शहर में चल रहे निर्माण में इस नियम का पालन ही नहीं हो रहा।
अगर कोई बेसमेंट पार्किंग बना भी रहा है तो उसके तीन तरफ से कवर्ड कर रहा है ताकि संबंधित निकाय से मिली-भगत कर उसका भी कॉमर्सियल उपयोग किया जा सके।
आउटलेट्स की भी मिली-भगत मानी जानी चाहिए
वकील एवं समाजसेवी अजयदीप मिश्रा का कहना है कि मकरोनिया चौराहा पर अधिकांश व्यवसायिक निर्माण हैं। जिन्हें देश-प्रदेश की जानी-मानी व्यवसायिक कंपनियों ने किराए पर ले रखा है। सवाल ये है कि क्या इनके प्रतिनिधि, इन निर्माण की टीएंडसीपी और नगर पालिका द्वारा पास नक्शे के मुताबिक हुए निर्माण की पड़ताल नहीं करते हैं। क्या ये संभव है कि ये कंपनियां बगैर पार्किंग वाली बिल्डिंस को किराए पर ले लेती हैं? एड. मिश्रा का कहना है कि आउटलेट्स के फ्रैन्चाइजी प्रतिनिधि या अन्य अधिकारी केवल नपा द्वारा पास नक्शे को देखते हैं जबकि उनके सामने बगैर पार्किंग और आगजनी के सुरक्षा उपकरणों रहित बिल्डिंग होती है। इसके बावजूद वह बिजनेस के पाइंट व्यू को तरजीह देते हुए इनमें किरायदारी शुरु कर देते हैं। अगर सही तरीके से जांच की जाए तो इन बिल्डिंग्स में नेशनल बिल्डिंग फायर नॉर्म्स 2016 के मुताबिक फायर फाइटिंग के इंतजाम तक नहीं मिलेंगे। अभी दीपावली के बाजार का सीजन चल रहा है। चौराहा के चारों तरफ की सड़कों पर स्थित इन चार-पांच मंजिला स्टोर्स पर बहुत भीड़ उमड़ रही है। अगर यहां आगजनी जैसी कोई घटना हो जाए तो उस पर काबू पाना मुश्किल हो जाएगा।
मैंने कई बार नपा को पत्र लिखे, दीपावली के बाद ठोस कार्रवाई करेंगे
मैं मानता हूं कि नगर पालिका मकरोनिया ने नक्शे के मुताबिक निर्माण पर ध्यान नहीं दिया। इसके चलते लोगों ने सड़क के लिए जगह नहीं छोड़ी। मैं इस विषय पर कड़ी आपत्ति ले चुका हूं और नगर पालिका को पत्र भी लिखे। यह समस्या और आगे नहीं बढ़े इसके लिए दीपावली के बाद नपा अध्यक्ष व सीएमओ संग प्लान तैयार किया जाएगा। इस रूट पर भविष्य में फ्लाइओवर भी बनाया जा सकता है। – प्रदीप लारिया, वरिष्ठ विधायक, नरयावली विस क्षेत्र
26/102024



