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विवि, जेएनपीए, एफएसएल के बाद अब बीना रिफायनरी की बारी! केंद्रीय मंत्री सिंधिया ने मांगी अशोकनगर के लिए औद्योगिक हिस्सेदारी

सिंधिया की इस मांग को बीना को जिला बनाने की मांग से भी जोड़कर देखना चाहिए

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सागर। शहर से डॉ. हरीसिंह गौर राजकीय विवि, राज्य एफएसएल, जवाहरलाल नेहरू पुलिस अकादमी छिन चुकी हैं। अब नंबर जिले में स्थापित औद्योगिक इकाइयों का है। शुरुआत बीना रिफायनरी से हुई है। जहां निर्माणाधीन 49 हजार करोड़ रुपए के पेट्रोकेमिकल कॉम्पलेक्स की औद्योगिक इकाइयों में से कुछ सागर जिले के बाहर, अशोकनगर के लिए मांगी जा रही हैं। न्यूज एजेंसी एएनआई के हवाले से जारी खबर के अनुसार बीते 26 जुलाई को केंद्रीय संचार एवं पूर्वोत्तर विकास मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी को एक चिट्ठी लिखी है। जिसमें उन्होंने अशोकनगर जिला के बीना के पास होने का हवाला देते हुए यहां बीना रिफायनरी से संबद्ध औद्योगिक इकाइयां स्थापित कराने की मांग की है।
गुना लोकसभा क्षेत्र के युवा, महिलाओं को लाभ मिलेगा: सिंधिया
सिंधिया ने इस पत्र में लिखा है कि, मेरे गुना लोकसभा क्षेत्र का अशोकनगर जिला बीना से सटा हुआ है तथा यह रेलमार्ग एवं सड़क मार्ग से आसानी से जुड़ा हुआ है। यदि बीना रिफाइनरी की इस विस्तार परियोजना से संबंधित कुछ औद्योगिक इकाइयां अशोकनगर जिले में स्थापित की जाती हैं, तो समूचे जिले का औद्योगिक विकास होगा तथा इससे उत्पन्न होने वाले रोजगार के अवसरों से युवाओं, महिलाओं एवं आमजन का आर्थिक एवं सामाजिक विकास होगा। इसलिए, मैं आपसे अनुरोध करता हूं कि कृपया संबंधित अधिकारियों को अशोकनगर जिले में संबंधित औद्योगिक इकाइयां स्थापित करने का निर्देश दें। यदि आप इस संबंध में उचित कार्रवाई करते हैं और मुझे की गई कार्रवाई के बारे में सूचित करते हैं तो मैं आभारी रहूंगा।
सिंधिया की इस मांग को बीना को जिला बनाने की मांग से भी जोड़ा जाना चाहिए
भारत पेट्रोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड की यह रिफायनरी बीना तहसील में स्थित है। जिसे सागर से अलग कर पृथक जिला बनाने की मांग की जा रही है। कतिपय लोग धरने पर बैठें हैं। गहराई में जाएं तो इस मांग की जड़ रिफायनरी से आसपास के क्षेत्र को होने वाले राजनैतिक, आर्थिक समीकरणों से जुड़ी मिलें। बीना अगर वास्तव में जिला बना तो फिर उसकी औद्योगिक संरचनाओं पर सागर के अलावा अन्य पड़ोसी जिलों के जनप्रतिनिधि अपना हक जताएंगे। प्रशासनिक नियंंत्रण सागर से छिनने के कारण यहां के जनप्रतिनिनिधियों का रिफायनरी पर ज्यादा हक-हकूक नहीं रह जाएगा। फिर होगा वही जो केबिनेट मंत्री, सिंधिया कर रहे हैं! बीना के भू-भाग में स्थापित होने वाली औद्योगिक संरचनाएं, विदिशा, गुना में स्थापित कराई जाने लगेगीं।
पीएम मोदी ने औद्योगिक निर्माणों की आधारशिला रखी थी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले वर्ष 14 सितंबर को मध्य प्रदेश के सागर जिले में स्थित बीपीसीएल की बीना रिफाइनरी में 49,000 करोड़ रुपए की पेट्रोकेमिकल्स परियोजना की आधारशिला रखी थी। इस परियोजना में बीपीसीएल की बीना रिफाइनरी की क्षमता को 7.8 एमएमटीपीए (मिलियन मीट्रिक टन प्रति वर्ष) से बढ़ाकर 11 एमएमटीपीए करना शामिल है। गौरतलब है कि पूरी परियोजना पांच वर्षों में पूरी हो जाएगी और आयात प्रतिस्थापन के माध्यम से प्रति वर्ष 20,000 करोड़ रुपए की विदेशी मुद्रा की बचत होगी। इससे देश को पेट्रोकेमिकल उत्पादन में आत्मनिर्भर बनाने के आत्मनिर्भर भारत मिशन में योगदान मिलेगा।

01/08/2024

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